बिजली मीटर क्या होता हैं | Electricity Meters

ऊर्जा मीटर क्या होता हैं: आज के इस आर्टिकल में हम लोग बात करेंगे कि जब हम अपने घर में उपकरणों का इस्तेमाल करते हैं। यार जितनी बिजली का इस्तेमाल अपने दैनिक जीवन में करते हैं। उसका हर महीने हमारे घर बिजली बिल भेजा जाता है। जिससे हमें। भुगतान भी करना पड़ता है। हमें प्रतिमा बेली का बेल के लिए एक सुनिश्चित राशि चुकानी पड़ती है लेकिन कभी हमारे घरों का बिजली बिल ज्यादा आ जाता है तो हमारे। पिछले महीने की तुलना में अधिक बिजली कैसे आया इसके बारे में। हमें परेशानी हो जाती है। जिसके कारण हमें लगता है कि बिजली हमारे बिजली बिल में कुछ गड़बड़ी है। ये उनके साथ नहीं बल्कि बहुत लोगों के साथ होता है। जिनका बिजली खपत करने का तरीका है पिछले महीने की तरह होता है या फिर उनको बिजली बिल का बिल कई बार बड़ा कर दिया जाता है।

आज के इस आर्टिकल में हम लोग बात कर रहे हैं कि बिजली मीटर क्या होता है इसकी बिजली की खपत अधिक कैसे हो जाती है उसके बारे में जानकारी विस्तार रूप से दी जा रही है।

बिजली मीटर एक ऐसा यंत्र होता है जिसके द्वारा घर है किसी कार्यालय में उपयोग होने वाले विभिन्न उपकरणों के द्वारा खर्चा की जाने वाली बिजली को मापती है। जब आप बिजली मीटर के स्किन को ध्यान से देखेंगे तो आपको इसमें कुछ संख्या रीडिंग देखने को मिलते हैं। बिजली। के मीटर में घर अथवा दफ्तर में इस्तेमाल करने वाले बिजली। के रीडिंग। किलोमीटर प्रति वाट के रूप में किया जाता है। जिसकी वजह से यह पता लगाया जाता है कि आपके द्वारा कितनी बिजली यूनिट की खपत की गई है। आपका बिजली काबिल उसी बिजली मीटर की रीडिंग पर निर्भर करती है। इससे यह पता लगाया जाता है आपने कितनी बिजली यूनिट का उपयोग किया है आपको उन उसी अनुसार। बिजली भुगतान करनी पड़ती है।

बिजली मीटर कई तरह के आते है, जो निम्न प्रकार है-

  • इलेक्ट्रोमेकानिकल विद्युत मीटर 
  • इलेक्ट्रॉनिक मीटर 
  • स्मार्ट मीटर

इलेक्ट्रोमेकैनिक विद्युत मीटर आपके लिए ग्रामीण क्षेत्रों में बहुत अधिक देखने के लिए मिलते हैं इनकी कार्यप्रणाली बहुत ही सरल होती है जिस कारण यह शहरी क्षेत्रों में अपनी जगह बनाने में सफल नहीं हुए हैं। इन बिजली मीटर के अंदर एक गैर चुंबकीय धातु डिस्क आंतरिक रूप से लगी होती है, जो इसके माध्यम से गुजर रही ऊर्जा शक्ति के आधार पर घूमती हैं यदि इसमें से गुजरने वाली ऊर्जा शक्ति अधिक होती हैं तो धातु की डिस्क तेजी से घूमने लगती हैं तथा अगर ऊर्जा शक्ति कम हैं तो डिस्क धीमी रफ्तार से घूमती है इस डिस्क के घूमने की दर के आधार पर ही बिजली मीटर पर रीडिंग शो होती है। जिस रफ्तार से डिस्क घूमती हैं बिजली मीटर पर रीडिंग भी उसी दर से बढ़ती और घटती हैं इस डिस्क को घूमने के लिए लगभग 2 वाट की बिजली की जरूरत होती है यह बिजली की खपत इलेक्ट्रोमेकैनिक विद्युत मीटर पर दिखाई नहीं देती है।

इलेक्ट्रॉनिक मीटर आज के समय में शहरी क्षेत्रों में तेजी से प्रयोग किये जाता है। इस बिधुत मीटर में एक एलईडी , एलसीडी डिस्प्ले लगी होती है। जो जुड़े उपकरणों की बिजली खपत की रीडिंग आसानी से प्राप्त कर सकता है इलेक्ट्रॉनिक मीटर में डिजिटल रीडिंग की व्यवस्था होती है। यह बिजली मीटर किसी भी प्रकार की छोटी से छोटी बिजली की खपत (छोटी इकाई) को आसानी से रजिस्टर कर सकते हैं।

स्मार्ट मीटर इलेक्ट्रॉनिक मीटर की तुलना में काफी बेहतर होते हैं। यह नियमित एवं सामान्य सेवाएं प्रदान करने के साथ बिजली प्रदान करने वाली कंपनी के साथ इंटरनेट के द्वारा जुड़े रहते है इसका मतलब यह है कि आपके घर में इस्तेमाल होने वाली बिजली की रीडिंग इंटरनेट के द्वारा उसको प्राप्त होती रहती है इसके लिए बिजली कंपनी के किसी भी अधिकारी को आपके घर आने की जरूरत नहीं होती है। आपके लिए बिजली मीटर की रीडिंग इंटरनेट के द्वारा भेजी जाती है।

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